रेत के “अवैध खनन और परिवहन” पर रोक लगाने में नाकाम साबित हो रहे खनिज अधिकारी…जिला पंचायत सदस्य नें कलेक्टर को लिखा पत्र।

खासखबर छत्तीसगढ़ बिलासपुर। उप संचालक खनिज विभाग बिलासपुर के अधिकारी अपने प्राथमिक कर्तव्यों का पालन नहीं कर रहे हैं नतीजा इनकी लचर कार्यप्रणाली से जिले की जीवनदायनी अरपा का जीवन ही खतरे में पड़ गया है। खनिज नियमों के विपरीत और अधिकारियों की अनदेखी के चलते नदी पर हो रहे रेत खनन और उत्तखनन पर जनता की शिकायत में कोई कार्यवाही नहीं होती,ऐसे हालात में जिला पंचायत सदस्य द्वारा कलेक्टर बिलासपुर को पत्र लिखकर अरपा नदी में हो रहे रेत के अवैध खनन और परिवहन पर रोक लगाने की मांग की गई है दूसरी ओर मांग पूरी नहीं होने पर उग्र आंदोलन की चेतावनी दी गई है।
जानकारी के अनुसार रीनू सुमंत यादव जिला पंचायत सदस्य क्षेत्र क्रमांक- 8 तखतपुर द्वारा कलेक्टर बिलासपुर को पत्र लिखकर दिनेश मिश्रा उप संचालक खनिज प्रशासन बिलासपुर की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े करते हुए अवगत कराया है कि उनके क्षेत्र ग्राम पंचायत निरतू से निकलने वाली अरपा नदी में बेखौफ हो रहे रेत के अवैध खनन एवं परिवहन पर रोक लगाई जाय। यदि शीघ्र रोक नहीं लगाया गया तो उग्र आंदोलन किया जाएगा।
उनका आरोप है कि तखतपुर जनपद पंचायत अंतर्गत ग्राम पंचायत निरतू एवं तुर्काडीह में अरपा नदी से जेसीबी और पोकलेन मशीन द्वारा लगातार रेत का उत्तखनन एवं परिवहन किया जा रहा है प्रतिदिन 200 से 300 हाइवा एवं ट्रेक्टर के माध्यम से परिवहन किया जा रहा है।खनिज नियमों के विपरीत नदी में 30 से 40 फ़ीट गहरा खनन कर रेत निकाला जा रहा है।
इस अवैध खनन एवं परिवहन की शिकायत ग्रामीणों द्वारा मौखिक रूप से खनिज विभाग के जिम्मेदार अधिकारियों को दी गई है किंतु अधिकारियों द्वारा कोई कार्यवाही नहीं किया गया। अब यदि लिखित शिकायत के बाद भी शीघ्र कार्यवाही नहीं की गई तो उग्र आंदोलन किया जाएगा।
बहरहाल खनिज विभाग के नकारा और निकम्मे अधिकारियों द्वारा इस शिकायत के बाद भी कार्यवाही नहीं किए जाने से होने वाले उग्र आंदोलन से सरकार की किरकिरी होना तय है ऐसे में देखना होगा कि प्रदेश के मुखिया जिनके पास ही खनिज विभाग है ऐसी गंभीर शिकायतों पर अधिकारियों के खिलाफ क्या एक्शन लेते हैं।